लम्बे समय से चुनावों में हार का स्वाद चख कर कांग्रेस पार्टी अब एक नया दाव खेलने जा रही है। आगामी चुनावों में जीत हासिल करने के दृढ़ निश्चय कर कांग्रेस पार्टी अपने दल में युवाओं को जोड़ने का प्रयास कर रही है। जवाहरलाल नेहरू यूनिवर्सिटी, जेएनयू (Jawaharlal Nehru University, Delhi “JNU”) में छात्रसंघ के पूर्व अध्यक्ष रह चुके सीपीआई नेता कन्हैया कुमार और उनके साथ गुजरात के निर्दलीय विधायक जिग्नेश मेवानी मंगलवार यानि 28 सितम्बर को कांग्रेस का हाथ थामने वाले है।
लगातार चुनावों में एक के बाद एक हार देखने के बाद से कांग्रेस पार्टी अब खुद को बदलने की तैयारी में जुट गई है। अब कांग्रेस की नजर आगामी विधानसभा चुनावों पर है। जिसके लिए पार्टी में इन युवा नेताओं को शामिल करने की योजना बनाई गई है। इसके लिए 28 सितम्बर मंगलवार के दिन को चुना गया है, क्यूंकि आज के दिन स्वतंत्रता सेनानी भगत सिंह की 114वी जयंती है। इस दिन के ख़ास मौके पर कन्हैया कुमार और जिग्नेश मेवाणी कांग्रेस में शामिल होने के लिए शपत ग्रहण करेंगे। जानकारी के अनुसार समारोह के दौरान राहुल गाँधी एवं पार्टी के सभी वरिष्ठ नेता वहां मौजूद रहेंगे। कांग्रेस पार्टी गुजरात में जिग्नेश मेवाणी को और वहीं बिहार में कन्हैया कुमार को बड़ी जिम्मेदारी दे सकती है।
ऐसे बताया जा रहा है कि कन्हैया कुमार और जिग्नेश मेवाणी के साथ उनके कुछ अन्य साथी भी पार्टी में शामिल हो सकते हैं। इसके साथ ही ख़बर आ रही कि कांग्रेस पार्टी हर राज्य में महाअभियान चलने की तैयारी में है ताकि और भी ऐसे युवा नेता, ख़ास कर के ऐसे लोगो को पार्टी में शामिल कर सके जो आंदोलन और संघर्ष से निकले हो और नाम कमाए हो। कन्हैया और जिग्नेश ऐसे ही युवा नेता के प्रतिक है। इसीलिए इन्हे पार्टी में शामिल किया गया है, ताकि दोनों अपने संघर्षो का उदाहरण देकर देशभर के युवाओं को प्रेरित कर कांग्रेस से जोड़ सके। और दोनों को सौपे हुए काम में, प्राथमिकता राहुल गांधी को मोदी के विकल्प में प्रस्तुत करने का होगा। अब देखना यही है कि इस नए जोश के साथ कांग्रेस क्या नया समीकरण बनाने में कामयाब होगी।