tv

हालाँकि इंटरनेट ने यूजर्स को सूचनाओं के तूफान से घेर लिया है, लेकिन एक चीज़ है जिसे इंटरनेट अभी भी पूरी तरह से रिप्लेस करने में सक्षम नहीं हो पाया है, और वह है टेलीविज़न। अपने आविष्कार के बाद से, यह मनोरंजन के सबसे महत्वपूर्ण स्रोतों में से एक रहा है। यह समान रूप से लोगों को शिक्षित और सूचित करने का एक महत्वपूर्ण साधन रहा है। इसी टेलिविजन के महत्व और मूल्यों को उजागर करने के लिए हर साल 21 नवंबर को दुनियाभर में ‘विश्व टेलीविजन दिवस’ यानी की “World Television Day” मनाया जाता है। जब से जनसंचार ने नेताओं और समुदाय के दिमाग पर अपनी पकड़ मजबूत की है, तब से टेलीविजन जनमत को आकार देने के शीर्ष पर है।

इस दिन से जुड़ी कुछ खास बातें

➤टीवी का आविष्कार स्कॉटिश इंजीनियर जॉन लोगी बेयर्ड (John Logie Baird) ने 1924 में किया था।
➤अपने आविष्कार के तीन दशक बाद, भारत में 15 सितंबर, 1959 को नई दिल्ली में यूनेस्को की सहायता से टेलीविजन की शुरुआत की गई।
➤1982 में पहली बार राष्ट्रीय टेलीविजन चैनल की शुरुआत हुई। इसी साल देश में पहला कलर टीवी भी आया।
➤पहला विश्व टेलीविजन मंच 21 नवंबर 1996 में शुरू हुआ, जिसे संयुक्त राष्ट्र महासभा ने विश्व टेलीविजन दिवस का नाम दिया।
➤यह दिन समाज पर टेलीविजन के बढ़ते महत्व और प्रभाव और निर्णय लेने की क्षमता को पहचानने के लिए मनाया जाता है। प्रत्येक व्यक्ति पर छोटा प्रभाव विचारों में एक बड़ा बदलाव लाता है और विश्व राजनीति को बहुत प्रभावित कर सकता है।
➤80 के दशक में, टेलीविजन ने भारत को एकजुट करने में भी मदद की क्योंकि बुनियाद, रामायण और महाभारत जैसे प्रतिष्ठित शो देखने के लिए कई लोग एक स्क्रीन के सामने इकट्ठा होते थे।
➤प्रारंभ में, भारत में, सामुदायिक स्वास्थ्य, यातायात, सड़क की समझ नागरिकों के कर्तव्यों और अधिकारों जैसे विषयों पर एक दिन में एक घंटे के लिए सप्ताह में दो बार कार्यक्रम प्रसारित किए जाते थे।
➤टीवी पर प्रसारित होने वाला पहला टेलीविजन विज्ञापन 1 जुलाई, 1941 को न्यूयॉर्क में आया जो की कुल 20 सेकंड तक चला।
➤संयुक्त राष्ट्र द्वारा एकत्रित आंकड़ों के अनुसार, 2023 तक टेलीविजन वाले परिवारों की संख्या लगभग 1.73 बिलियन हो जाएगी।