प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी (Narendra Modi) ने केदारनाथ धाम में आदि गुरु शंकराचार्य (Adi Shankaracharya) की प्रतिमा का अनावरण किया। ये प्रतिमा 12 फुट ऊंची है। 2013 की उत्तराखंड बाढ़ में क्षतिग्रस्त होने के बाद इसका पुनर्निर्माण किया गया है। करीब 35 टन वजनी शंकराचार्य की इस प्रतिमा पर काम 2019 में शुरू हो गया था। इस प्रतिमा को मैसूर के अरुण योगीराज (Arun Yogiraj) ने बनाया था।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा, “शंकर का संस्कृत में अर्थ है- “शं करोति सः शंकरः”, यानी, जो कल्याण करे, वही शंकर है। इस व्याकरण को भी आचार्य शंकर ने प्रत्यक्ष प्रमाणित कर दिया। उनका पूरा जीवन जितना असाधारण था, उतना ही वो जन-साधारण के कल्याण के लिए समर्पित थे।”
आदि गुरु शंकराचार्य, 8 वीं शताब्दी के आध्यात्मिक नेता और कलादी (वर्तमान केरल) में पैदा हुए दार्शनिक, अद्वैत वेदांत स्कूल ऑफ फिलॉसफी के एक्सपोनेंट थे। उन्होंने भारत में चार मठों की स्थापना की, उत्तर में बद्रीकाश्रम, पश्चिम में द्वारका, पूर्व में पुरी और दक्षिण में श्रृंगेरी। उन्होंने माधव और रामानुज के साथ हिंदू धर्म के पुनरुद्धार में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई।