भारतीय रेलवे (Indian Railways) ने आज से शुरू हो रही कांवर यात्रा (Kawar Yatra) के श्रद्धालुओं के लिए व्यापक इंतजाम किए हैं और दो ट्रेनों का परिचालन हरिद्वार तक बढ़ा दिया है। उत्तर रेलवे अस्थायी आधार पर कोच और स्टॉपेज भी जोड़ेगा और पांच जोड़ी ट्रेनों के मार्गों का विस्तार करेगा। दिल्ली-सहारनपुर और दिल्ली-शामली पैसेंजर ट्रेनें हरिद्वार (Haridwar) तक चलेंगी।
वरिष्ठ मंडल वाणिज्य प्रबंधक (सीनियर DCM), उत्तर रेलवे (मुरादाबाद रेल मंडल), सुधीर कुमार सिंह (Sudhir Kumar Singh) ने कहा, “रेलवे द्वारा और ज़्यादा कोचों की तैनाती की जा रही है। वहीं ट्रेनों को 13 जुलाई से 28 जुलाई तक हरिद्वार रेलवे स्टेशन पर बढ़ा दिया गया है। इसके साथ ही कावड़ यात्रियों की संख्या में वृद्धि के कारण रेलवे द्वारा तीन और ज़्यादा ट्रेनें तैयार की गई हैं, जो हरिद्वार जिला प्रशासन द्वारा तैयार किया गया है।”
यात्रियों के लिए एक विशेष ट्रेन भी चलाई जाएगी और लंबी दूरी की ट्रेनें रायवाला और मोतीचूर स्टेशनों पर रुकेंगी। भक्तों की सुविधा के लिए रायवाला और मोतीचूर रेलवे स्टेशनों पर रुकने वाली ट्रेनों में दून-सूबेदारगंज एक्सप्रेस, दून-उज्जैन एक्सप्रेस दून-इंदौर एक्सप्रेस, ऋषिकेश-कोचुवेली एक्सप्रेस, वैष्णो देवी कटरा-ऋषिकेश एक्सप्रेस और ऋषिकेश-बाडमेर एक्सप्रेस शामिल हैं।
हरिद्वार में मुरादाबाद और लक्सर के बीच प्रतिदिन मेला स्पेशल ट्रेन (Mela Special Train) चलाई जाएगी जो कांठ, सेंटारा, धामपुर, नगीना, नजीबाबाद, मौजमपुर और बलावली होते हुए गुजरेगी। वहीं बुकिंग काउंटरों की संख्या भी दोगुनी हो गई है। सुरक्षा व्यवस्था भी तेज कर दी गई है तीन एडिशनल ट्रेनों को आपात स्थिति के लिए तैयार रखा गया है साथ ही 250 रेलवे सुरक्षा बल के जवानों (RPF) को तीर्थयात्रियों की सुरक्षा के लिए तैनात किया जाएगा। जवानों के साथ महिला बटालियन को भी हरिद्वार रेलवे स्टेशन पर बुलाया गया है।
‘कांवर यात्रा’ भगवान शिव के भक्तों की एक वार्षिक तीर्थयात्रा है। कांवरिया (तीर्थयात्री) उत्तराखंड में हरिद्वार, गौमुख और गंगोत्री और बिहार के सुल्तानगंज जैसे स्थानों पर गंगा नदी का पवित्र जल लाने के लिए जाते हैं। फिर वे उसी जल से भगवान की पूजा करते हैं। कोरोनावायरस महामारी के मद्देनजर, उत्तराखंड में 2021 में कांवर यात्रा रद्द कर दी गई थी और ‘हर की पौड़ी’ में प्रवेश भी प्रतिबंधित कर दिया गया था।