sex racket

राजधानी पटना में होटलों में चल रहे सेक्स रैकेट का भंडाफोड़ होता सुना होगा आपने। लेकिन राजधानी पटना से अब एक ऐसी खबर सामने आ रही है जिसमें पति-पत्नी के द्वारा सेक्स रैकेट को चलाया जा रहा था। जिस का भंडाफोड़ पुलिस ने किया। पुलिस ने कस्टमर के रूप में जा कर इस रैकेट को पकड़ा है।

राजधानी पटना के दीघा इलाके में चल रहे इस सेक्स रैकेट के लिए पति-पत्नी ने किराए का मकान लिया था। ऑनलाइन और ऑफलाइन दोनों तरीकों से लड़कियों की डील होती थी। दलाल के साथ-साथ व्हाट्सएप के जरिए यह गैंग काम करता था। लड़कियों की फोटो व्हाट्सएप पर भेजी जाती थी। और कस्टमर के पसंद के मुताबिक उन लड़कियों के डील होती थी। इसके बाद दलाल कस्टमर को जगह तक लेकर जाता था।

कस्टमर्स के साथ, पति-पत्नी इन लड़कियों की डील 2 से 3 हजार या उससे अधिक रुपयों में किया करते थे। कस्टमर्स को लड़कियों के साथ-साथ शराब और अन्य सामग्री आदि उपलब्ध कराई जाती थी जिसके लिए वे अलग से पैसे वसूला करते थे। पुलिस द्वारा यह पूरा भंडाफोड़ कस्टमर के रूप में किया गया।

सेक्स रैकेट का यह काला धंधा पिछले कई दिनों से चल रहा था। दीघा थाना को इस रैकेट का जैसे पता चला वैसे ही थानाध्यक्ष राजकुमार पांडे ने अपने एक अफसर को कस्टमर बनाकर धंधे बाजों के ठिकाने पर भेजा। इसके बाद दीघा थाना की पुलिस ने आजाद नगर के अमृति बगीचा स्थित नवोदय विद्यालय के रिटायर्ड वाइस प्रिंसिपल मुक्तेश्वर मिश्रा के मकान में छापेमारी की। पुलिस ने जिस वक्त छापेमारी की उस वक्त इस पति-पत्नी का दलाल विश्वजीत कुमार भी मौजूद। जिसके बाद पुलिस द्वारा विश्वजीत कुमार को पकड़ा गया।

आपको बता दें विश्वजीत ही कस्टमर लाने का काम किया करता था। और सेक्स रैकेट को चलाने वाले मधुकर सहाय और उनकी पत्नी रूपा सहाय थे। फिलहाल पति-पत्नी फरार हैं। और पुलिस द्वारा इनकी खोज चल रही है। बता दें, मधुकर सहाय मुजफ्फरपुर मोतीझील के नया टोला का रहने वाला है। पुलिस की जांच पड़ताल में पता चला है कि मधुकर ने झूठ बोलकर किराए का मकान लिया था। मकान मालिक को उसने खुद को एयरटेल का स्टाफ बताया था। छापेमारी में पुलिस को कमरे से कई आपत्तिजनक सामान मिले हैं।

साथी आप हो या भी बता दें कि विश्वजीत को पकड़ने के दौरान मौके से दो लड़कियों को भी रेस्क्यू किया गया है। फिर से दोनों लड़कियां पश्चिम बंगाल के कोलकाता की रहने वाली। इस मामले में बड़ा खुलासा किया। पुलिस को बताया कि उन्हें नौकरी दिलाने की बात कहकर बिहार लाया गया था। और नौकरी की जगह उन्हें सेक्स रैकेट में धंधे में डुबो दिया जाता था। उन्होंने यह भी बताया कि काम दिलाने के बहाने कोलकाता के साथ-साथ पटना के ग्रामीण इलाकों से भी लड़कियों को पटना लाया जाता था। और काम के नाम पर उनसे यह घिनौना काम करने को कहा जाता था।

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